|
|
Sharad Purnima 2025: मान्यता अनुसार रात को चांद की रोशनी में रखी गई खीर में अमृत बरसता है।
संवाद सूत्र, अजगैवीनाथ धाम। Sharad Purnima 2025 हरेक मास की पूर्णिमा से शरद पूर्णिमा का विशिष्ट महत्व है। मान्यता है कि इस दिन गंगा स्नान करने वाले श्रद्धालुओं पर भगवान शिव की विशेष कृपा बरसती है। शरद पूर्णिमा के मौके पर सोमवार को बिहार, झारखंड, बंगाल सहित अन्य राज्यों से भारी संख्या में श्रद्धालु गंगा स्नान करने अजगैवीनाथ धाम पहुंचे और गंगा में आस्था की डुबकी लगा कर मां गंगा की पूजा-अर्चना कर सुख समृद्धि की कामना की। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
शरद पूर्णिमा के मौके पर हजारों शिव भक्त उत्तर वाहिनी गंगा का जल लेकर जलाभिषेक करने देवघर के लिए रवाना हुए। वहीं, कुछ लोगों के बीच पूर्णिमा को लेकर असमंजस बनी रही। कुछ लोग पूर्णिमा का स्नान ध्यान मंगलवार को करेंगे। पंडित दिलीप झा ने बताया कि शरद पूर्णिमा की रात दूध की खीर बनाकर खुले आसमान के नीचे रखने का विशेष महत्व है।
शरद पूर्णिमा की रात खीर बना कर उस स्थान पर रखा जाए, जहां चंद्रमा की किरणें पड़े, इससे खीर पर चंद्रमा से अमृत बरसता है। सुबह सबसे पहले उस खीर को खाया जाए तो शरीर में एक नई ऊर्जा उत्पन्न होती है। इतना ही नहीं इस खीर को अमृत के समान माना गया है। खीर खाने वाले व्यक्ति की आयु बढ़ती है।
इससे पहले शरद पूर्णिमा के मौके पर गंगा स्नान करने वाले श्रद्धालुओं की भीड़ रविवार की शाम से ही उमड़नी शुरू हो गई। शरद पूर्णिमा पर हजारों की संख्या में श्रद्धालु अजगैवीनाथ धाम गंगा स्नान के लिए पहुंचे। अधिक संख्या में श्रद्धालु वाहन से आने के कारण विभिन्न सड़कों पर जाम की स्थिति उत्पन्न हो गई। दूर-दराज से गंगा स्नान करने आने वाले श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की परेशानी न हो इसको लेकर पुलिस-प्रशासन अलर्ट रहा। थानाध्यक्ष मृत्युंजय कुमार ने चिह्नित जगहों पर पुलिस पदाधिकारी के साथ पुलिस बलों की तैनाती की थी। |
|